डीबीएस न्यूज, नौतनवां/महराजगंज: बॉयो मेडिकल वेस्ट ट्रीटमेंट फैसिलिटी प्लांट के विरोध में नौतनवां क्षेत्र के कौलही, बरवाकलां, राजधानी, चंडीथान, चढलहां, नरकटहां, खरग बरवां, अराजी महुअवां, बगहां, मुड़िला, पैसिया बाबू, गजरही के ग्रामीणों ने एक स्वर में निर्णय लिया हैं कि क्षेत्र में इस प्लांट को नहीं लगने दिया जाएगा। प्लांट लगने से स्थानीय लोगों को पर्यावरण प्रदूषण जैसी समस्या का सामना करना पड़ेगा।
आपको बता दें कि गांव राजधानी में बॉयो मेडिकल वेस्ट मैटेरियल को निस्तारित करने के लिए एक प्लांट लगाया जाना प्रस्तावित है। गांव राजधानी सहित आसपास के गांवों के लोग शुरू से ही इस प्लांट का विरोध कर रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि यह प्लांट हर प्रकार से लोगों के लिए नुकसानदेह होगा। इस प्लांट में जनपद के विभिन्न अस्पतालों से वेस्ट मैटेरियल निस्तारण के लिए यहां आएगा। इस वेस्ट मेडिकल मैटेरियल में खून से सने कपड़े, मानव अंग, सुई, पट्टियां तथा अन्य मैटेरियल होगा, जिसे मशीनों द्वारा निस्तारित किया जाएगा। मैटेरियल को निस्तारित करते समय उससे निकलने वाले हानिकारक पदार्थ जन स्वास्थ्य के लिए नुकसानदायक होंगे।
बीते 25 मई को प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर से अपर जिलाधिकारी पंकज वर्मा, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी पंकज यादव सहित टीम जन सुनवाई के लिए राजधानी गांव में पहुंची थी। जिसमें बड़ी संख्या में ग्रामीणों ने प्लांट लगाने का विरोध किया। ग्रामीण महिलाओं ने कहा कि वे किसी भी कीमत पर अपने क्षेत्र में बायो मेडिकल वेस्ट प्लांट नहीं लगाने देंगी, चाहे इसके लिए उन्हें कुछ भी करना पड़े पीछे नहीं हटेंगी।
अपर जिलाधिकारी पंकज वर्मा ने बताया की नौतनवां क्षेत्र के राजधानी गांव में बायो मेडिकल वेस्ट प्लांट लगाना प्रस्तावित है। इसमें प्रक्रिया होती है कि ग्रामीणों की राय जानना। इस संदर्भ में राजधानी गांव में खुली बैठक की गई थी। ग्रामीणों का राय लिया गया है। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ग्रामीणों के बातों का निराकरण करने के उपरांत ही कोई निर्णय लेगी।
खुली बैठक में ग्रामीणों में पूर्व प्रधान व स्वच्छ भारत मिशन के पूर्व जिला ब्रांड अंबेसडर विरेन्द्र राव, भाकियू जिलाध्यक्ष व जिला पंचायत सदस्य सुरेश सहानी, जिला पंचायत सदस्य रामानुज मौर्य, जिला पंचायत सदस्य जमीउल्लाह, कांग्रेस नेता सदामोहन उपाध्याय, पर्यावरण प्रेमी डॉ. राजेश पटेल, समाजशास्त्री मो. शकील सिद्दीकी, डॉ. रामकेश मौर्या, पूर्व प्रधान प्रमोद यादव आदि ने दलीलें दी कि बायो मेडिकल प्लांट आबादी से पांच किमी की परिधि से बाहर ही लगाया जा सकता है, जबकि यहां 500 मीटर की दूरी पर आबादी है। निकट ही बरवां कला रेलवे स्टेशन, स्कूल कालेज है। इसके बावजूद आबादी के बीचो-बीच इस प्लांट को लगाया जा रहा है, जिससे निकलने वाले विषैले गैस व रासायनिक तत्व से स्थानीय लोगों का जीवन प्रभावित होना स्वभाविक है। साथ ही प्रदूषण के कारण यहां के लोगों को अपनी खेती व घर छोड कर पलायन होने पर विवश होना पडेगा। शासन प्रशासन को तत्काल इसे यहां से हटा कर मानव निवास स्थान से दूर लगाना चाहिए।