डीबीएस न्यूज, सोनौली: एक समय था जब सोनौली और नौतनवां का गिट्टी बालू व्यवसाय की अपने आप मे एक ख्याति थी। अंतरराष्ट्रीय पटल पर सोनौली और नौतनवां को एक व्यवसायिक पहचान मिली थीं। नौतनवां प्लाट पर इसके बढ़ते ट्रेड को देखते हुए पत्थर तोड़ने वाली चार क्रेशर मशीने भी लग गयी थी। वहीं गिट्टी बालू व्यवसाय में क्षेत्र सहित दूरदराज के लगभग लाखो लोगो को रोजगार मिली थी।
लेकिन न जाने यहां के गिट्टी बालू व्यवसाय के इस चकाचौंध को किसकी नजर लगी। और नेपाल ने गिट्टी बालू की भारत निकासी पर 15 जुलाई 2014 से रोक लगा दी। इसके बाद वर्ष 2017 में पर्यावरण संरक्षण का हवाला देकर नेपाल की कोर्ट ने नदियों से तराई में गिट्टी, बालू व पत्थर के खनन पर रोक लगा दी थी। इसके बाद सब कुछ ठप हो गया हालांकि भारत और नेपाल दोनों देश के व्यापारियों ने इसका कड़ा विरोध किया था लेकिन इससे कुुुछ हुआ नही था।
वहीं एक मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अब बहुत जल्द नेपाल से भारत को गिट्टी, बालू और पत्थर का निर्यात होने लगेगा। नेपाली वित्त मंत्री विष्णु पौडेल की ओर से सावन माह से शुरू होने वाले आगामी वित्तीय वर्ष के लिए पेश किए गए बजट में इसका एलान किया गया है। माना जा रहा है कि नेपाल ने अपना वित्तीय घाटा कम करने के लिए यह पहल की है। फिर नेपाल से गिट्टी बालू और पत्थर का निर्यात होने से गिट्टी-मोरंग की कीमत कम होगी और लाखो लोगों को रोजगार भी मिलेगा।
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